ये अँधेरा है ये तन्हाई है…Ye Andhera Hai Ye Tanhai Hai…
ये अँधेरा है ये तन्हाई है,तेरी फिर-फिर के याद आई है,दिल में शोला सा क्या दहकता है,किसने फिर आग ये लगाईं है ।।______________ अपनी तक़दीर से शिकवा ही नहीं,पहले ऐसा कभी हुआ ही नहीं,तेरी यादों में बेकरार है दिल,तेरी उल्फत क्या रंग लाई है ।।ये अँधेरा है ये तन्हाई है …… ______________ नहीं कोई भी …
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