तनधन बाबो शेठ म्हारी
नारायणी सेठाणी है (२)
या तो झूँझनू की महाराणी है ।।
तर्ज – दे दो थोड़ा प्यार
माँग के तू देख,
सर न झुका के देख,
दादी के द्वार पे,
पल म बदल देसी
माँ तकदीरा री रेख,
जो आया द्वार पे,
बाँट रही परचा (२)
झूठी नाही ये कहानी है ।
ये तो….
दुःख में सुमिरन कर
या सुख में सुमिरन कर,
आवेगी मावड़ी,
भगतां क साग जो
रिश्तों बनायो है,
निभावेगी मावड़ी,
ई खातिर ही तो (२)
आकी दुनिया दिवानी है,
ये तो…
या कुल देवी म्हारी
सारे जग से न्यारी है,
भगता ने प्यारी है,
ममता लूटावै है
या साथ निभावे है,
या पालनहार है,
श्याम जो गावे (२)
या आंकी मेहरबानी है,
ये तो…